एचएमपीवी वायरस से बचाव के लिये बरतें सावधानी : सीएस

एचएमपीवी वायरस से बचाव के लिये बरतें सावधानी : सीएस

बंशीधर न्यूज

मेदिनीनगर : हृयूमन मेटोन्यूमो वायरस (एचएमपीवी) से घबराने की जरूरत नहीं है। बल्कि इसके बचाव के लिये सावधानी बरतने की जरूरत है। पलामू के सिविल सर्जन डॉ अनिल कुमार ने मंगलवार को प्रेसवार्ता में कहा कि एचएमपीवी वायरस से फेफड़े में संक्रमण होता है। भारत में एचएमपीवी वायरस के नौ केस पोजिटिव पाये गये हैं। कोविड की तरह ही इसमें लक्षण होते हैं।

एचएमपीवी में नाक बहना, खांसी होना, गले में दर्द आदि प्रमुख लक्षण हैं। सीएस ने कहा कि पलामू स्वास्थ्य विभाग इसके लिये तैयारी प्रारंभ कर दी है। यह वायरस ज्यादातर 14 साल के नीचे आयु वर्ग के बच्चों में हो रहा है। उन्होंने कहा कि ठंढ और बरसात के मौसम में एचएमपीवी वायरस ज्यादा सक्रिय हो जाते हैं। उन्होंने कहा कि जल्द ही स्कूलों में इसके लिये जागरूकता चलाया जायेगा।

साथ ही स्कूल के एक शिक्षक को नोडल बनाया जायेगा। ताकि उक्त नोडल शिक्षक स्कूल में जब प्रार्थना होती है तो इसके बारे में बच्चों को बतायेंगे। फिलहाल पलामूवासियों को पैनिक होने की जरूरत नहीं है। तीन-चार दिनों के अंदर सदर अस्पताल, अनुमंडल अस्पताल, सीएचसी और पीएचसी में बेड व्यवस्थित कर लिया जायेगा। इसे लेकर जल्द प्रखंडों के चिकित्सा प्रभारियों के साथ ऑन लाईन बैठक कर स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी गाईड लाईन को साझा किया जायेगा।

उन्होंने कहा कि कोविड में जो व्यवहार लोग करते थे, ठीक उसी तरह एचएमपीवी वारस से बचाव के लिये व्यवहार करना है। उन्होंने कहा कि भीड़भाड़ क्षेत्रों में जाने से परहेज करना है। समय-समय पर हाथों को ठीक तरह से सफाई करना है। छिंकते या खांसते समय रूमाल या मास्क का उपयोग करना है। इस अवसर पर डीपीएम प्रदीप कुमार सिन्हा, डॉ अनूप कुमार, डॉ प्रेमचंद, आलोक कुमार आदि उपस्थित थे।

सदर अस्पताल समेत अन्य अस्पतालों में तैयार किया जायेगा बेड सिविल सर्जन ने कहा कि सदर अस्पताल में कोविड के समय तैयार किये गये 20 बेड का इस्तेमाल किया जायेगा। वहीं अनुमंडल अस्पतालों में 20-20 बेड, सीएचसी में 10-10 और पीएचसी स्तर पर तीन-तीन बेड तैयार किये जायेंगे। उन्होंने कहा कि हालांकि इस वारयस में लोगों की भर्ती होने की संभावना कम है, इसके बावजूद भी यदि कोई केस सिरियस आयेगा तो इसके लिये स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह से तैयार रहेगा।

उन्होंने कहा कि मेडिकल कॉलेज में लगे आरटीपीसीआर जांच को भी जल्द व्यवस्थित कर लिया जायेगा। उन्होंने कहा कि दवा आदि की व्यवस्था उपलब्ध है। उन्होंने कहा कि सदर अस्पताल समेत लेस्लीगंज, पांकी, हुसैनाबाद में ऑक्सीजन प्लांट लगे हुये हैं, जरूरत पड़ने पर इस्तेमाल किया जायेगा।