ब्रह्मदेव बाबा के मंगला श्रृंगार आरती में उमड़ी हजारों श्रद्धालुओं की भीड़

धार्मिक आयोजन हमारी सांस्कृतिक कार्यक्रम का हिस्सा है, इसे धर्म और मजहब से जोड़कर नहीं देखें : जिला जज, नलिन कुमार
ब्रह्मदेव स्थान पर एक साथ जितनी सत्यनारायण कथा होती है उतना भारतवर्ष में कहीं नहीं होता है : बाल स्वामी जी महाराज
धार्मिक आयोजन स्थल पर सकारात्मक तत्व होता है मौजूद : एसडीओ संजय कुमार पांडे
श्रद्धालुओं का हर मन्नत पूरा होता है : संतोष दुबे
बलराम शर्मा
मेराल: गढ़वा जिला के प्रसिद्ध श्री ब्रह्मदेव बाबा स्थान पर अयोध्या धाम के बालस्वामी श्री अवधेन्द्र प्रपन्नाचार्य जी महाराज के नेतृत्व में 55 वें श्री लक्ष्मी नारायण सह रामचरित मानस नवाह्न पारायण महायज्ञ एवं यहां लगने वाला ऐतिहासिक मेला के समापन के अवसर पर आयोजित ब्रह्मदेव बाबा के मंगला श्रृंगार आरती में हजारों श्रद्धालुओं के साथ गढ़वा जिला एवं सत्र न्यायाधीश नलिन कुमार अपने न्यायिक अधिकारियों तथा सदर एसडीओ के साथ शामिल हुए।
समापन के अवसर पर अपने आशीर्वचन में बाल स्वामी जी ने कहा कि ब्रह्म बाबा की महिमा अपरंपार है। जो यहां शुद्ध मन से आता है उनकी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। जिला जज श्री नलिन सोरेन ने उद्गार व्यक्त करते हुए सबसे पहले ब्रह्म बाबा वर्सिप मैनेजमेंट कमेटी के पदाधिकारी को 55 वें भव्य आयोजन तथा अनवरत हवन यज्ञ और विराट आयोजन करने के लिए साधु बाद देते हुए कहा कि ऐसे धार्मिक संस्थाएं ही आज सनातन संस्कृति को बचाने में लगी है।
श्री कुमार ने कहा कि धार्मिक कार्यक्रम हमारी सांस्कृतिक धरोहर का हिस्सा है इसको सिर्फ धर्म या मजहब से जोड़कर देखने की आवश्यकता नहीं है। यह हमारी सामूहिक, सामाजिक धरोहर है, इसको इसी रूप में देखने की आवश्यकता है। उन्होंने महाकुंभ में उमड रहे जन सैलाब पर कहा कि ऐसा कार्यक्रम सेल्फ डिसिप्लिन से ही संभव हो पता है। जहां के लोगों को बहुत डिसिप्लिन नहीं माना जाता है उनमें न जाने कहा से सेल्फ डिसिप्लिन आ जाता है कि लोग बिना किसी कंप्लेन के कितना भी कष्ट झेलने को तैयार हो जाते हैं।
ऐसा इसलिए होता है कि धार्मिक कार्यक्रम में महान आत्माओं के बीच रहने से लोगों को दिव्य अनुभूति होती है, जिससे मन बदल जाता है। ऐसे आयोजन होने पर एक दूसरे से मेल जोल होने से अच्छी भावनाएं प्रेषित होती है और फिर आपस में एक दूसरे से लोग समझते हैं कि हम सभी एक ही संस्कृति के हैं, तो किसी तरह का भेदभाव नहीं रहता है। गढ़वा सदर एसडीओ संजय कुमार पांडे ने कहा कि ऐसे धार्मिक आयोजन स्थल पर सकारात्मक तत्व मौजूद होता है जो हमें भगवान के निकट ले जाने में अहम भूमिका निभाते हैं। पूजा-पाठ करने से हमें आध्यात्मिक बल की भी प्राप्ति होती है।
जिससे सामाजिक सरोकारों की भावना को भी बढ़ावा मिलता है। ट्रस्ट के अध्यक्ष ट्रस्ट अध्यक्ष राजेंद्र दुबे, सचिव श्रीकांत दुबे, संतोष दुबे ने बचपन से लेकर 55 वर्षों तक लगातार हो रहे आयोजन तथा ब्रह्म बाबा की महिमा का विस्तार से बखान करते हुए कहा कि जो श्रद्धालु का मन्नत पूरा होता है तभी तो पांच राज्यों के बड़ी संख्या में श्रद्धालु यहां पहुंचते हैं। कार्यक्रम का सफल संचालन ट्रस्ट के पदाधिकारी द्वारिका नाथ पांडे के द्वारा किया गया।
कार्यक्रम में एडीजे प्रथम दिनेश कुमार, सीजीएम कुमार विपुल, जज इंचार्ज महेंद्र पंडित, सत्संग समिति के अरुण दुबे, अमरेंद्र मिश्रा, आत्मा पांडे, कोषाध्यक्ष रामाशंकर ठाकुर, प्रदीप पासवान, संतोष कुमार, जागेश्वर यादव, जयराम बिंद, राजाराम दुबे, कृपाल दुबे, नंदलाल दुबे, जयकुमार दुबे, अशर्फी चंद्रवंशी, संजय भगत सहित हजारों श्रद्धालु शामिल थे।